Link to home pageLanguagesLink to all Bible versions on this site
2
बेदीनी का आदमी
1 भाइयो, यह सवाल उठा है कि हमारे ख़ुदावंद ईसा मसीह की आमद कैसी होगी? हम किस तरह उसके साथ जमा हो जाएंगे? इस नाते से हमारी आपसे दरख़ास्त है 2 कि जब लोग कहते हैं कि ख़ुदावंद का दिन आ चुका है तो आप जल्दी से बेचैन या परेशान न हो जाएँ। उनकी बात न मानें, चाहे वह यह दावा भी करें कि उनके पास हमारी तरफ़ से कोई नबुव्वत, पैग़ाम या ख़त है। 3 कोई भी आपको किसी भी चाल से फ़रेब न दे, क्योंकि यह दिन उस वक़्त तक नहीं आएगा जब तक आख़िरी बग़ावत पेश न आए और “बेदीनी का आदमी” ज़ाहिर न हो जाए, वह जिसका अंजाम हलाकत होगा। 4 वह हर एक की मुख़ालफ़त करेगा जो ख़ुदा और माबूद कहलाता है और अपने आपको उन सबसे बड़ा ठहराएगा। हाँ, वह अल्लाह के घर में बैठकर एलान करेगा, “मैं अल्लाह हूँ।”

5 क्या आपको याद नहीं कि मैं आपको यह बताता रहा जब अभी आपके पास था? 6 और अब आप जानते हैं कि क्या कुछ उसे रोक रहा है ताकि वह अपने मुक़र्ररा वक़्त पर ज़ाहिर हो जाए। 7 क्योंकि यह पुरअसरार बेदीनी अब भी असर कर रही है। लेकिन यह उस वक़्त तक ज़ाहिर नहीं होगी जब तक वह शख़्स हट न जाए जो अब तक उसे रोक रहा है। 8 फिर ही “बेदीनी का आदमी” ज़ाहिर होगा। लेकिन जब ख़ुदावंद ईसा आएगा तो वह उसे अपने मुँह की फूँक से मार डालेगा, ज़ाहिर होने पर ही वह उसे हलाक कर देगा। 9 “बेदीनी के आदमी” में इबलीस काम करेगा। जब वह आएगा तो हर क़िस्म की ताक़त का इज़हार करेगा। वह झूटे निशान और मोजिज़े पेश करेगा। 10 यों वह उन्हें हर तरह के शरीर फ़रेब में फँसाएगा जो हलाक होनेवाले हैं। लोग इसलिए हलाक हो जाएंगे कि उन्होंने सच्चाई से मुहब्बत करने से इनकार किया, वरना वह बच जाते। 11 इस वजह से अल्लाह उन्हें बुरी तरह से फ़रेब में फँसने देता है ताकि वह इस झूट पर ईमान लाएँ। 12 नतीजे में सब जो सच्चाई पर ईमान न लाए बल्कि नारास्ती से लुत्फ़अंदोज़ हुए मुजरिम ठहरेंगे।

आपको नजात के लिए चुन लिया गया है
13 मेरे भाइयो, वाजिब है कि हम हर वक़्त आपके लिए ख़ुदा का शुक्र करें जिन्हें ख़ुदावंद प्यार करता है। क्योंकि अल्लाह ने आपको शुरू ही से नजात पाने के लिए चुन लिया, ऐसी नजात के लिए जो रूहुल-क़ुद्स से पाकीज़गी पाकर सच्चाई पर ईमान लाने से हासिल होती है। 14 अल्लाह ने आपको उस वक़्त यह नजात पाने के लिए बुला लिया जब हमने आपको उस की ख़ुशख़बरी सुनाई। और अब आप हमारे ख़ुदावंद ईसा मसीह के जलाल में शरीक हो सकते हैं। 15 भाइयो, इसलिए साबितक़दम रहें और उन रिवायात को थामे रखें जो हमने आपको सिखाई हैं, ख़ाह ज़बानी या ख़त के ज़रीए।

16 हमारा ख़ुदावंद ईसा मसीह ख़ुद और ख़ुदा हमारा बाप जिसने हमसे मुहब्बत रखी और अपने फ़ज़ल से हमें अबदी तसल्ली और ठोस उम्मीद बख़्शी 17 आपकी हौसलाअफ़्ज़ाई करे और यों मज़बूत करे कि आप हमेशा वह कुछ बोलें और करें जो अच्छा है।

<- 2 थिस्सलुनीकियों 12 थिस्सलुनीकियों 3 ->