थिस्सलुनीकियों के नाम पौलुस प्रेरित की पहली पत्री
थिस्सलुनीकियों को नाम पौलुस प्रेरित की पहिली चिट्ठी परिचय थिस्सलुनीकियों की पहिली चिट्ठी प्रेरित पौलुस न १:१ लिख्यो होतो। पहिले पवित्र शास्त्र को हिस्सा बन्यो अऊर मसीह को जनम को ५१ साल बाद लिख्यो गयो, जब पौलुस न चिट्ठी लिखी तब ऊ कुरिन्थियों शहर म होतो थिस्सलुनीकियों कि मण्डली जेक ओन चिट्ठी लिखी दूसरों मिशनरी यात्रा को दरम्यान स्थापित करी गयी होती, प्रेरितों १७:१-१०। प्रेरितों को कामों की किताबों म असो बतायो हय कि या मण्डली यहूदियों अऊर गैरयहूदियों की बनी होती। या मण्डली की स्थापना करन को बाद पौलुस थिस्सलुनीकियों म जादा दिन तक रुक नहीं सक्यो। येकोलायी ओन या चिट्ठी ख उत्साह देन को लायी लिख्यो, या चिट्ठी म बहुत विषयो की चर्चा करी गयी हय, जसो कि मसीहियों न कसो रहनो चाहिये। पौलुस मसीह को दूसरों आगमन तक को बारे म लिखय हय शायद येकोलायी कि थिस्सलुनीकियों को मण्डलियों म रहन वालो विश्वासियों ख सुनावन म बड़ो उत्साह होतो, पौलुस यो विषय को द्वारा यीशु को दूसरों आगमन ख लिख क उन्ख असो जीवन जीन लायी प्रोत्साहित करय हय जेकोसी परमेश्वर सन्तुष्ट हय। ५:६-८ रूप-रेखा १. मण्डली ख नमस्कार अऊर परमेश्वर को धन्यवाद। १ २. पौलुस अपनो काम को बारे म अऊर तीमुथियुस न जो खबर लायी होतो ओको बारे म चर्चा करयो। २–३ ३. यीशु को दूसरों आगमन की तैयारी करन को लायी मसीही म कसो जीवन जीनो चाहिये। ४:१–५:१५ ४. पौलुस को मण्डली ख नमस्कार हर एक न ओको चिट्ठी पढ़नो चाहिये, येको बारे म सुचना। ५:१६-२८
1 ✡प्रेरितों १७:१पौलुस अऊर सिलवानुस अऊर तीमुथियुस को तरफ सी, थिस्सलुनीकियों की मण्डली को नाम, जो परमेश्वर बाप अऊर प्रभु यीशु मसीह म हय।
अनुग्रह अऊर शान्ति तुम्ख मिलतो रहे। 2 हम तुम्ख प्रार्थनावों म तुम्ख हमेशा याद करजे अऊर हमेशा तुम सब को बारे म परमेश्वर को धन्यवाद करजे हंय, 3 अऊर अपनो परमेश्वर अऊर बाप को सामने तुम्हरो विश्वास को काम, अऊर प्रेम को मेहनत, अऊर हमरो प्रभु यीशु मसीह म धीरज सी धरयो हुयो आशा ख लगातार याद करजे हंय। 4 हमरो भाऊवों अऊर बहिनों, हम जानजे हय कि परमेश्वर तुम सी प्रेम करय हय अऊर तुम्ख चुन्यो हय। 5 कहालीकि हम्न तुम्हरो जवर सुसमाचार लायो यो केवल शब्दों सी नहीं पर सामर्थ, पवित्र आत्मा सी, अऊर पूरी सच्चायी की निश्चयता को संग; तुम जानय हय जब हम तुम्हरो संग होतो तुम कसो रह्यो या तुम्हरी भलायी को लायी होतो। 6 ✡प्रेरितों १७:५-९तुम बड़ो कठिनायी म भी, पवित्र आत्मा को खुशी को संग, सन्देश ख स्वीकार करयो। हमरी अऊर प्रभु को अनुकरन करन लग्यो। 7 असो करनो सी मकिदुनिया अऊर अखया प्रदेश को सब विश्वासियों को लायी तुम अच्छो बन्यो। 8 कहालीकि तुम्हरो वचन केवल मकिदुनिया अऊर अखया म सुनायो गयो, असोच नहीं पर तुम्हरो विश्वास को जो परमेश्वर पर हय, हर जागा असी चर्चा फैल गयी। कि हम्ख यो बारे म कुछ कहन की जरूरत नहाय। 9 कहालीकि हि लोग हमरो बारे म बतावय हंय कि तुम्हरो जवर आयो त हमरो कसो स्वागत भयो; अऊर तुम कसो मूर्ति सी परमेश्वर को तरफ फिरयो ताकि जीवतो अऊर सच्चो परमेश्वर की सेवा करो, 10 अऊर ओको बेटा ख स्वर्ग पर सी आवन की रस्ता देखतो रहो जेक ओन मरयो हुयो म सी जीन्दो, मतलब यीशु की, जो हम्ख परमेश्वर सी आवन वालो प्रकोप सी छुड़ावय हय।
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1 ✡प्रेरितों १७:१पौलुस अऊर सिलवानुस अऊर तीमुथियुस को तरफ सी, थिस्सलुनीकियों की मण्डली को नाम, जो परमेश्वर बाप अऊर प्रभु यीशु मसीह म हय।